Dadu.. I miss you
दादू .... दादू अब मत कहना बेटा दादू नहीं दादा बोलना चाहिए। आप तो मुझे अकेला छोड़कर चले गए. अब ना मैं दादू ना दादा किसी को पुकार सकुंगी आपके जाने के बाद कई दिनों तक लगता था की , आप गए ही नहीं कही ,जब में बाहर रहती थी तब लगता था की आप हमेशा की तरह घर पर मेरा इंतज़ार कर रहे हो। जब घर आती थी लगता था आप अस्पताल में मेरे लिए रुके हो. पता नहीं क्यों मेरा मन मानने को तैयार ही नहीं था की में आपको कभी मिल ही नहीं पाऊँगी। जैसे जैसे दिन बीतते गए ,हफ़्ते बीतते गए,आज तीन महीने हो गए हे.. कुछ बातें थी बतानी कुछ जज़्बात थे जताने | पुरे हुए आज तीन महीने, ऐसे ही बीत जायेंगे साल, पर दिल का वही रहेगा हाल पल पल मैं यादें उनकी मुझे रुलायेगी, एक वक़्त था जब यही यादें मुस्कान लायी थी। आज आँखों मैं नमी, बस उनकी है कमी, महसूस कर सकती हूँ उनकी बातें, बस सुन नहीं सकती। खुलीं आँखों से उनको देख तो सकती हूँ, पर स्पर्श नहीं कर सकती। सुख दुःख मैं हमेशा उनकी याद रहेगी, सोनू बेटा कहने वाले दादा की, हमेशा लाड़ली रहेगी। .... DADA I MISS U Writer - Kashmira Dhoka